Top 10 Shayari by Mirza Ghalib in Hindi – दिल को छू जाने वाली ग़ालिब शायरी
Top 10 Best Shayari by Mirza Ghalib – उर्दू का जादू
Mirza Ghalib – जिनका नाम ही शायरी की गहराई को दर्शाता है। पेश हैं ग़ालिब की 10 सबसे मशहूर और दिल को छूने वाली शायरियाँ।
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हज़ारों ख्वाहिशें ऐसी कि हर ख्वाहिश पे दम निकले,
बहुत निकले मेरे अरमान लेकिन फिर भी कम निकले। -
दिल ही तो है न संग-ओ-ख़िश्त, दर्द से भर न आए क्यूँ,
रोएँगे हम हज़ार बार, कोई हमें सताए क्यूँ? -
ये न थी हमारी क़िस्मत कि विसाल-ए-यार होता,
अगर और जीते रहते यही इंतज़ार होता। -
रगों में दौड़ते फिरने के हम नहीं क़ायल,
जब आँख ही से न टपका तो फिर लहू क्या है? -
इश्क़ पर ज़ोर नहीं है ये वो आतिश 'ग़ालिब',
कि लगाए न लगे और बुझाए न बने। -
बाज़ीचा-ए-अत्फाल है दुनिया मेरे आगे,
होता है शब-ओ-रोज़ तमाशा मेरे आगे। -
हम को मालूम है जन्नत की हक़ीक़त लेकिन,
दिल के खुश रखने को 'ग़ालिब' ये ख़याल अच्छा है। -
न था कुछ तो ख़ुदा था, कुछ न होता तो ख़ुदा होता,
डुबोया मुझको होने ने, न होता मैं तो क्या होता? -
ग़म अगरचे जाँगुज़र है, प्यास भी बुरी नहीं,
किसी के पास बैठो तो उसे महसूस भी करो। -
हर एक बात पे कहते हो तुम कि 'तू क्या है',
तुम्हीं कहो कि ये अंदाज़-ए-गुफ़्तगू क्या है?
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